Madhya Pradesh Weather : इंदौर में तेज हवाओं से गिरे पेड़, पन्ना में बारिश से भीगा गेहूं, धार में दो की मौत


स्टोरी हाइलाइट्स

Madhya Pradesh Weather  : धार जिले के डेहरी में कच्चे घर की दीवार‍ गिरने से एक युवक और बुजुर्ग महिला की मौत। Madhya Pradesh Weather  : भोपाल। मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल और इंदौर सहित कई इलाकों में निसर्ग की वजह से तेज बारिश हो रही है। मालवा-निमाड़ अंचल में बुधवार रात से बारिश का दौर जारी है। खंडवा में सुबह आठ बजे तक तीन इंच से ज्यादा बारिश हो गई है। कुंदा नदी में बाढ़ का पानी आ गया है। बड़वानी विकासखंड में 4 इंच, सेंधवा चाचरिया व निवाली में 4 इंच से अधिक बारिश हुई है। धार जिले के डेहरी में कच्चे घर की दीवार‍ गिरने से एक युवक और बुजुर्ग महिला की मौत। पन्ना में बारिश से खरीदी केंद्रों में खुला पड़ा हजारों कुंटल अनाज भीगा पन्ना में अचानक जोरदार बारिश शुरू हो गई है, जिससे खरीदी केंद्रों में रखा हजारों कुंटल अनाज भीग गया। बारिश तो इतनी तेज थी कि बोरिया पानी में डूब गई साथ ही गांव के कच्चे घरों में पानी घुस गया है, गलियां तरबतर हो गई। सामान्यता पन्ना जिले में 18 जून के बाद पानी बरसता रहा है लेकिन 15 दिन पहले से ही बरसात शुरू हो जाने से सब कुछ तहस-नहस हो गया है। पन्ना जिले के सिमरिया अनाज खरीदी केंद्र के मैदान में भीग रहा यह गेहूं किसानों से खरीदा गया है प्रशासन की लापरवाही के कारण यह अनाज पानी में भीग गया क्योंकि सुबह से जोरदार बारिश हो रही है और अनाज को भीगने से बचाने के लिए कोई उचित प्रबंध नहीं किए गए। तेज हवाओं से इंदौर में गिरे 6 पेड़ निसर्ग तूफान को लेकर इंदौर नगर निगम भी अलर्ट हो गया है। तूफान के मद्देनजर निगम के आला अधिकारियों निगम कंट्रोल रूम में मौजूद है। अपर आयुक्त, उपायुक्त सहित एसडीआरएफ की टीम के अधिकारी भी नगर निगम कंट्रोल रूम पर मौजूद हैं। वायरलेस सेट के माध्यम से लगातार शहर के हालात की जानकारी ली जा रही है। अब तक शहर में 6 पेड़ो के गिरने की सूचना कंट्रोल रूम को मिली है। निगम आयुक्त प्रतिभा पाल अधिकारियों से लगातार जानकारियां ले रही है। निसर्ग से महाकौशल और विंध्य के कई जिलों में भी बारिश निसर्ग चक्रवात की वजह से महाकौशल, विंध्य के कई जिलों में तेज बारिश हुई। जबलपूर, मंडला, नरसिंहपुर, सतना, रीवा, सीधी, उमरिया, अनूपुर में रुक-रुक कर बारिश जारी। सबसे ज्यादा मंडला में पौने दो इंच बारिश 1 दिन में दर्ज हुई, जबलपुर में आधा इंच से ज्यादा वर्षा दर्ज। अगले 24 घंटे ऐसा ही मौसम बने रहने की संभावना, मौसम विभाग ने इसे लेकर अजर्ट जारी किया है। बड़वानी में बारिश से परेशान हुए किसान बड़वानी जिले में निसर्ग चक्रवात की वजह से तेज बारिश गर्मी से राहत लेकर आई, लेकिन किसानों पर कहर आ गया। जिन किसानों ने खेत में फसल लगा रखी थी, उन्हें नुकसान की आशंका है। अंजड़ निवासी ऋषि शर्मा खेत कि मेढ़ पर लगा पाला फूटने से लगभग 6 एकड़ की कपास की फसल को नुकसान पहुचा है। वहीं नर्मदा से सटे क्षेत्र के खेतों में अलग-अलग फसलों को तैयार करे खेतों में पानी भरने से किसानों ने बताया अब बोवनी में देरी होगी, जिससे फसल पिछडेगी, बीती रात हुई 3 से 4 इंच वर्षा ने कई खेतों में जलभराव जैसी स्थिति पैदा कर दी है। निसर्ग तूफान का असर पूरे प्रदेश में देखा जा रहा है। अधिकांश जिलों में बुधवार रात से तेज हवाओं के साथ रुक-रुककर बारिश का सिलसिला जारी है। वरिष्ठ मौसम वैज्ञानिक एके शुक्ला का कहना है कि तूफान के साथ वेस्टर्न डिस्टरबेंस भी असर दिखा रहा है। इसलिए गुरुवार को भोपाल, इंदौर, होशंगाबाद, जबलपुर और सागर संभागों में बारिश हो रही है। पिछले 24 घंटे की बात करें तो सबसे ज्यादा बारिश खंडवा में 132 मिमी हुई है। लगातार बारिश से यहां कई इलाकों में सड़कें लबालब हो गईं। नाले उफान पर आ गए। खरगोन में भी कुंदा नदी में पानी बह निकला। बड़वानी में 97 मिमी बारिश हुई। इंदौर में 51 और भोपाल में 23 मिमी बारिश हो चुकी है। मौसम केंद्र ने भोपाल में बारिश का यलो अलर्ट जारी किया। जबकि 18 जिलों में भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। शुक्रवार से निसर्ग के कमजोर होने की संभावना को देखते हुए बारिश के तेवर भी नरम हो जाएंगे। इंदौर: 4 इंच बारिश का अनुमान, बारिश और हवा से 5 पेड़ गिरे मौसम विभाग के मुताबिक, गुरुवार को दिनभर में 10 सेमी (लगभग 4 इंच) पानी बरस सकता है। बिजली गिरने का खतरा भी बहुत ज्यादा रहेगा। हवा भी 50 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चलेगी। हालांकि सुबह से हल्की हवाएं चल रही हैं, जिससे मौसम में ठंडक घुल गई है। हालांकि बारिश के कारण कई इलाकों में बिजली गुल है। हालात को देखते हुए निगम के सभी अधिकारी कंट्रोल रूम पर मौजूद हैं। निगमायुक्त भी हालात का जायजा ले रही हैं। अब तक शहर में 5 पेड़ गिर चुके हैं। इंदाैर के साथ ही उज्जैन, खरगोन, खंडवा, बड़वानी समेत मालवा निमाड़ के करीब-करीब सभी जिलों में तूफान का असर दिखाई दे रहा है। शहडोल में गर्मी से लोगों को मिली राहत शहडोल गुरुवार की सुबह 3 बजे से कभी धीमे तो कभी तेज बारिश हो रही है इस साल प्री मानसून की यह पहली बारिश है जिससे गर्मी से तपते हुए शहर को ठंडक मिल रही है। जून की शुरुआत में ही इस तरह का बारिश का मौसम बन जाने से लोगों को काफी राहत महसूस हो रही है। खंडवा में लगातार बारिश जारी, कई नाले उफान पर निसर्ग तूफान के कारण खंडवा में रातभर से तेज बारिश का दार जारी है। शहर में बुधवारा, कहारवाड़ी, रेलवे स्टेशन, सिनेमा चौका समेत कई निचले इलाके पानी-पानी हो गए हैं। कई नाले उफान पर आ गए हैं। मौसम विभाग ने भारी बारिश और हवा आंधी चलने की चेतावनी दी है। प्रशासन ने लोगों से घरों में रहने की अपील की है। कहा- लोग पर्यटन स्थलों पर भी न जाएं। इन क्षेत्रों में गुरुवार काे 50 किमी की रफ्तार से हवा और आंधी चल सकती है। मौसम विभाग और जिला प्रशासन ने अलर्ट जारी किया है कि गुरुवार को ओंकारेश्वर, हनुवंतिया, असीरगढ़ समेत किसी भी पर्यटन स्थल पर न जाएं। यहां 40-50 किमी की रफ्तार से तेज हवा चलने के साथ बिजली गिरने की संभावना है। डिप्टी कलेक्टर हेमलता सोलंकी ने बताया कि भू-अभिलेख कार्यालय में नियंत्रण कक्ष बनाया गया है। खंडवा में मुख्य मार्ग भी पानी-पानी हो गए हैं। बड़वानी में भी रातभर झमाझम बड़वानी में भी निसर्ग का खासा असर देखने को मिला है। यहां 97 मिमी बारिश हो चुकी है। सेंधवा में सबसे ज्यादा 104, निवाली में 102 और बरला में 91 मिली बारिश रिकाॅर्ड की गई। रातभर बारिश से अंजड भी पानी-पानी हो गया है। नर्मदा पट्‌टी से लगे खेतों में पानी भरने से फसलों को नुकसान हुआ है। यहां पाल टूटने से करीब 6 एकड़ में कपास की फसल को काफी नुकसान हुआ है। लगातार बारिश होने से मंडी में रखी उपज भीग गई है। इंदौर में बारिश के कारण अलसुबह एक पेड़ धराशाई हो गया। इंदौर: कलेक्टर ने सभी से घरों में रहने की अपील की कलेक्टर मनीष सिंह ने बताया कि मौसम विभाग के अनुसार गुरुवार को तूफान का संभावित असर इंदौर में दिख सकता है। तेज हवा और बारिश की आशंका के मद्देनजर सांसद शंकर लालवानी और कलेक्टर ने सभी नागरिकों से घरों में ही रहने की अपील की है। बिजली विभाग काे भी अलर्ट रहने के लिए कहा है। कलेक्टरेट में तूफान की तैयारियों को लेकर बुधवार को सांसद और कलेक्टर ने बैठक भी ली। आपदा की स्थिति पैदा होने की दशा में नगर निगम में कंट्रोल रूम बनाया गया है। संभागायुक्त आकाश त्रिपाठी ने सभी आठों जिले के कलेक्टर को पत्र जारी किए हैं। इसमें ज्यादा से ज्यादा गेहूं को वेयर हाउस में रखवाने के लिए कहा। बुरहानपुर में सिंधी बस्ती से लेकर गणपति नाका तक बाइपास पर सड़क के हाल ऐसे हो गए। ग्वालियर- चंबल संभाग में बारिश शुरू  तूफान के असर से ग्वालियर चंबल संभाग में देर रात से बारिश का सिलसिला शुरू हो गया है। इसके आज दिन में और ज्यादा जोर पकड़ने के आसार हैं। मौसम विभाग के अनुसार खंडवा के रास्ते बुधवार रात से पश्चिमी मप्र में सिस्टम सक्रिय हो गया है। इससे सीजन की पहली तेज प्री-मानसून बारिश हो गई है। गुरुवार को 40-50 मिमी बारिश होने की संभावना है। पश्चिमी विक्षोभ के असर से पश्चिमी राजस्थान के ऊपर चक्रवाती घेरा बना हुआ है। अरब सागर से आने वाले सिस्टम से यदि चक्रवाती घेरे का मिलाप होता है तो शुक्रवार को भी बारिश होगी। इन जिलों में भारी बारिश का अनुमान मौसम विभाग की चेतावनी के अनुसार, रायसेन, सीहोर, होशंगाबाद, बैतूल, हरदा, बुरहानपुर, खंडवा, खरगौन, बड़वानी, अलीराजपुर, झाबुआ, धार, देवास, छिंदवाड़ा, सागर, छतरपुर, टीकमगढ़ और शाजापुर जिलों में भारी बारिश की चेतावनी है। इसके साथ भोपाल, इंदौर, जबलपुर, सागर, उज्जैन, ग्वालियर, रीवा, शहडोल और चंबल संभागों में तेज हवा के साथ-साथ गरज चमक के साथ बारिश होगी। यह है खंडवा रेलवे स्टेशन का नजारा। यहां रातभर बारिश होने से क्षेत्र पानी-पानी हो गया है। 8 साल बाद इतनी जल्द प्री-मानसून गतिविधि 2012 में मानसून 3 जून को ही सेट हो गया था। मई खत्म होने तक 5 इंच पानी गिर चुका था। लिहाजा, मानसून घोषित करना पड़ा था। 8 साल बाद अब ऐसा अवसर आया है, जब जून के पहले दिन से ही प्री-मानसूनी गतिविधि शुरू हो गई। लेकिन सक्रिय मानसून 22 जून तक आएगा। 40 साल बाद दिखेगा तूफान का ऐसा असर मौसम विशेषज्ञ अजय कुमार शुक्ला के मुताबिक 1980 में इस तरह का तूफान आया था। महाराष्ट्र में टकराने के बाद इंदौर, भोपाल, जबलपुर पर इसका असर हुआ था। हालांकि 2008-09, 2016-17 में भी गुजरात की तरफ से तूफान आने की चेतावनी जारी की गई थी, लेकिन इसके भटक जाने की वजह इंदौर, भोपाल बेअसर रहे। जून की बारिश का आधा कोटा पूरा हो सकता है जून में औसत बारिश के 7 दिन माने जाते हैं। कुल 6 इंच बारिश इस महीने में होती है। गुरुवार को लगातार बारिश हुई तो आधा कोटा एक ही दिन में पूरा हो जाएगा। इसके बाद भी प्री-मानसून सक्रिय रहेगा। पिछले साल कुल 53 इंच पानी गिरा, लेकिन जून में 5 इंच ही बारिश हुई थी।