MP: राजस्व भूमि आवंटन के अस्वीकृत मामलों का रिकार्ड, अब एक साल तक ही रखा जा सकेगा.. डॉ. नवीन जोशी


स्टोरी हाइलाइट्स

MP: प्रदेश में राजस्व भूमि के आवंटन संबंध अस्वीकृत या तसीबध मामलों का रिकार्ड एक साल तक ही रखा जा सकेगा. इस संबंध में राज्य सरकार...

MP: राजस्व भूमि आवंटन के अस्वीकृत मामलों का रिकार्ड, अब एक साल तक ही रखा जा सकेगा.. डॉ. नवीन जोशी डॉ. नवीन जोशी भोपाल: प्रदेश में राजस्व भूमि के आवंटन संबंध अस्वीकृत या तसीबध मामलों का रिकार्ड एक साल तक ही रखा जा सकेगा. इस संबंध में राज्य सरकार ने राजस्व पुस्तक परिपत्र में नया संशोधन कर दिया है. नये संशोधन के अनुसार, ग्यारह मामलों में अस्वीकृत या नस्तीबध्द मामलों का रिकार्ड एक वर्ष तक ही रखा जा सकेगा. एक, व्यक्तियों को कृषि प्रयोजन के लिये भूमि का आवंटन जिसमें भूमिस्वामी हक दिये जाने संबंधी मामले भी शामिल हैं. दो, कृषि प्रयोजन के लिये सहकारी संस्थाओं, शालाओं, ग्राम पंचायतों, ग्राम सभा, युवक क्लब आदि को भूमि आवंटन. तीन, कृषि योग्य भूमि का शासन के अन्य विभागों, अन्य राज्य शासनों या केंद्रीय शासन को हस्तांतरण. चार, कृषि योग्य भूमि से संबंधित अन्य मामले. पांच, नजूल भूमि के पट्टों का नवनीकरण किया जाना. छह, नजूल भूमि का स्थाई पट्टे पर दिया जाना, सात, नजूल भूमि का राज्य शासन के किसी विभाग को हस्तांतरण किया जाना. आठ, नजूल के अन्य मामले, नौ, नजूल भूमि का स्थानीय निकाय को भूमि स्वामी अधिकार दिया जाना. दस, नजूल भूमि का नीलामी द्वारा भूमि स्वामी अधिकार दिया जाना, ग्यारह, नजूल भूमि का लायसेंस पर दिया जाना. नये संशोधन में साफ तौर पर कहा गया है कि उक्त ग्यारह मामलों में स्वीकृति के मामलों का रिकार्ड स्थाई रुप से रखा जाना होगा. संशोधन में यह भी कहा गया है कि कृषि प्रयोजन के लिये सहकारी संस्थाओं, शालाओं, ग्राम पंचायतों, ग्राम सभा, युवक क्लब आदि को भूमि आवंटन के मामले में पट्टे की समाप्ति या रद्द करने की तारीख से पांच वर्ष, कृषि योग्य भूमि से संबंधित अन्य मामले में प्रकरण के स्वरुप के अनुसार स्थाई या तीन वर्ष तथा नजूल भूमि का स्थाई पट्टे पर दिया जाना के मामले में भूमि की निष्क्रमण की तारीख से तीन वर्ष तक भी रिकार्ड को रखा जा सकेगा.