शरीर में पर्याप्त ऑक्सीजन बनाए रखने के लिए इन बातों का रखें ध्यान..


स्टोरी हाइलाइट्स

कुछ समय पहले ऑक्सीजन सिलेंडर के अभाव में देशभर के अस्पतालों में कई लोगों की मौत हो गई. अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी से मरीज व उनके परिजन परेशान थे.

शरीर में पर्याप्त ऑक्सीजन बनाए रखने के लिए इन बातों का रखें ध्यान.. कुछ समय पहले ऑक्सीजन सिलेंडर के अभाव में देशभर के अस्पतालों में कई लोगों की मौत हो गई. अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी से मरीज व उनके परिजन परेशान थे. इसलिए यह जानना जरूरी है कि शरीर में ऑक्सीजन का स्तर कम क्यों होता है और शरीर को ऑक्सीजन की जरूरत क्यों है. हमारे शरीर में पाए जाने वाले ऑक्सीजन का स्तर हमारे रक्त में पाए जाने वाले ऑक्सीजन की मात्रा के बराबर होता है. विशेषज्ञों का मानना ​​है कि ऑक्सीजन का स्तर 8 से कम नहीं होना चाहिए. एक स्वस्थ व्यक्ति में ऑक्सीजन का स्तर 6 से 8 के बीच होता है. एक स्वस्थ व्यक्ति प्रति मिनट 15 से 20 बार सांस लेता है लेकिन उसे 5 से 6 बार सही अनुपात में होना चाहिए. तेज सांस लेने के बजाय गहरी सांस लेना जरूरी है. तेजी से सांस लेने से पर्याप्त ऑक्सीजन का स्तर नहीं मिलता है. जब हम सांस लेते हैं तो ऑक्सीजन अंदर जाती है और जब हम सांस छोड़ते हैं तो कार्बन डाइऑक्साइड बाहर जाती है. यह काम हमारे फेफड़ों के सबसे निचले हिस्से में होता है, जैसे कि एल्वियोली. गहरी सांस लेने से ऑक्सीजन का प्रवाह फेफड़ों के निचले हिस्से में पहुंच जाता है. जब हवा एल्वियोली में पहुंचती है तो पर्याप्त ऑक्सीजन उपलब्ध होती है. ऑक्सीजन वायुमंडल में हवा के माध्यम से सीधे रक्तप्रवाह में अवशोषित होती है और रक्त कोशिकाओं के माध्यम से शरीर में पहुंचती है. यह कार्य लाल रक्त कोशिकाओं में होता है. लाल रक्त कोशिका का कार्य शरीर के विभिन्न भागों में ऑक्सीजन पहुंचाना है. तो रक्त कोशिकाएं जितनी स्वस्थ होंगी, ऑक्सीजन का स्तर उतना ही बेहतर होगा. हाइपोसेमिया एक ऐसी स्थिति है जिसमें शरीर ऑक्सीजन खो देता है. इसका अनुभव तब होता है जब प्रदूषण की मात्रा अधिक होती है और हवा में ऑक्सीजन की मात्रा कम होती है. फेफड़ों में किसी प्रकार की कमजोरी के कारण गहरी सांस लेने में कठिनाई होने पर भी पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं मिलती है. रक्त प्रवाह इतना मजबूत नहीं है कि ऑक्सीजन को स्टोर कर शरीर के विभिन्न हिस्सों में भेज सके. हृदय रोग, अस्थमा, एनीमिया और फेफड़ों में संक्रमण, निमोनिया या रक्त के थक्के बनने पर ऑक्सीजन का स्तर गिर सकता है. यह तब भी हो सकता है जब फेफड़ों में आवश्यक मात्रा में तरल पदार्थ न हो या पर्याप्त नींद न लें. शरीर में ऑक्सीजन का स्तर बनाए रखने के लिए ताजी हवा में सांस लें. घर में पर्याप्त वेंटिलेशन होना चाहिए. घर के बाहर किसी पार्क या खुली जगह में भी हवा में ऑक्सीजन की मात्रा अच्छी रहती है. पर्याप्त पानी पीना भी फायदेमंद होता है. रक्त में ऑक्सीजन पहुंचाने और शरीर से कार्बन डाइऑक्साइड को बाहर निकालने के लिए फेफड़ों को जलयोजन की आवश्यकता होती है. मानव शरीर प्रतिदिन 200 मिलीलीटर पानी को अवशोषित करता है. भोजन के रूप में हरी सब्जियां, फल आदि आर्यों का भरपूर प्रयोग करें. हमारा शरीर जितना अधिक ऑक्सीजन का उपयोग करता है, वह उतना ही अधिक ऊर्जावान रहता है. व्यायाम करने के अलावा, हमें सांस लेने की सही तकनीक की भी आवश्यकता होती है. धीरे-धीरे गहरी सांस लेने की आदत डालना जरूरी है. अंदर और बाहर सांस लेने की सही तकनीक सिखाए जाने से एथलीट ऊर्जावान होते हैं. ब्रीदिंग एक्सरसाइज से न सिर्फ ऑक्सीजन का स्तर बढ़ता है बल्कि तनाव भी दूर होता है.