चीतों के रहवास स्थल पालपुर कूनो के क्षेत्र में खाली कराये ग्यारह ग्रामों की भूमि शामिल हुई


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स्टोरी हाइलाइट्स

इन गांवों की भूमि के बदले 3 हजार 720.9 हैक्टेयर भूमि अन्यत्र दी गई है, अभयारण्य के अंदर इन 18 गांवों का कुल रकबा 4 हजार 407 हैक्टेयर है..!!

भोपाल: राज्य सरकार ने चीता रहवास स्थल पालपुर कूनो अभयारण्य जिला श्योपुर के क्षेत्र में उन ग्यारह ग्रामों की भूमि शामिल की कर दी है जिन्हें अभयारण्य से खाली कराया है। दरअसल कूनो अभयारण्य में 18 गांव हैं जिन्हें खाली कराया जा रहा है। इन गांवों की भूमि के बदले 3 हजार 720.9 हैक्टेयर भूमि अन्यत्र दी गई है। अभयारण्य के अंदर इन 18 गांवों का कुल रकबा 4 हजार 407 हैक्टेयर है। अब तक कुल ग्यारह  गांव खाली कराये जा चुके हैं तथा इनकी भूमि को अब वन विभाग ने अभयारण्य का वनखण्ड घोषित कर दिया है। इससे वहां रह रहे चीतों का संरक्षण किया जा सकेगा और उन्हें खुले में घूमने के लिये निर्बाध वन क्षेत्र मिलेगा।

ये गांव बने वनखण्ड :

कूनो के अंदर बने बरेड, लादर, पॉंडरी, खजूरी (इसमें तीन गांव शामिल हैं यथा खजूरी, खजूरी कलां एवं खजूरी खुर्द), पैरा (इसमें चार गांव शामिल हैं यथा पैरा, पालपुर, जाखेद एवं मेघपुरा) तथा बसंतपुरा गांव। इन सभी गांवों को अब वनखण्ड घोषित किया गया है जिससे ये अभयारण्य के संरक्षित वन बन गये हैं। इन दस गांवों का कुल रकबा 1 हजार 854.932 हैक्टेयर है। शेष गांव की भूमि भी शीघ्र वनखण्ड घोषित की जायेगी।