Union Budget 2025: कैबिनेट बैठक में बजट को मंजूरी, जल्द ही लोकसभा में किया जाएगा पेश, संसद भवन में नेताओं का आना जारी


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स्टोरी हाइलाइट्स

निर्मला सीतारमण आठवां बजट पेश करने वाली हैं, ऐसे में वित्त मंत्री ने आज क्रीम कलर की मधुबनी आर्ट वाली साड़ी पहनी है..!!

Union Budget 2025: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण आज रिकॉर्ड आठवां लगातार बजट पेश करेंगी, उम्मीद है कि बजट राजकोषीय दृष्टि से सतर्क रहेगा और इसमें कमजोर आर्थिक विकास को सहारा देने तथा मध्यम वर्ग पर बोझ कम करने के उपाय शामिल होंगे, जो ऊंची कीमतों और स्थिर वेतन वृद्धि से जूझ रहा है।

निर्मला सीतारमण बिहार की मधुबनी कला से सजी की साड़ी पहनकर संसद पहुंची हैं। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण मधुबनी कला और पद्म पुरस्कार विजेता दुलारी देवी के कौशल को श्रद्धांजलि देने के लिए साड़ी पहनी हैं।राष्ट्रपति ने वित्त मंत्री को दही खिलाया। बजट को लेकर सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। सीतारमण इस बार भी पेपरलेस बजट पेश करेंगी, सबकी निगाहें बजट भाषण पर होंगी।

वित्त मंत्री सीतारमण ने सबसे लंबे बजट भाषण का रिकॉर्ड बनाया है। मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण शनिवार को सुबह 11 बजे संसद में आम बजट पेश करने वाली हैं। लोगों को इस बजट से कर में छूट की उम्मीद है। वित्त मंत्री से 10 लाख रुपये तक की आय को कर मुक्त करने और स्वास्थ्य सेवाओं के साथ-साथ कृषि, शिक्षा और उद्योग के लिए बड़े फैसले लेने को कहा गया है। उद्योगपति जहां पेंशन की उम्मीद कर रहे हैं, वहीं वरिष्ठ नागरिकों को रेल यात्रा में छूट की जरूरत है। प्रत्येक वर्ग ने वित्त मंत्री से अपने लिए रियायतें मांगी हैं।

जिस प्रकार एक देश और एक टैक्स है, उसी प्रकार एक देश और एक स्वास्थ्य योजना भी होनी चाहिए। आयुष्मान योजना को राज्यों की स्वास्थ्य योजनाओं से जोड़ा जाना चाहिए ताकि प्रत्येक योजना पर अलग-अलग पैसा खर्च न हो। ऑक्सीजन पर 12% जीएसटी हटाकर उसे शून्य या 5% स्लैब में लाया जाना चाहिए। आईएमए के पूर्व अध्यक्ष डॉ. शरद गुप्ता पूछते हैं कि मेडिकल स्वास्थ्य बीमा पर 18 प्रतिशत जीएसटी क्यों लगाया जा रहा है, जबकि इससे मरीज पर वित्तीय बोझ बढ़ रहा है। इसे शून्य कर दिया जाना चाहिए या 5 प्रतिशत स्लैब में रखा जाना चाहिए। सरकार ने बीमा पॉलिसियों को राजस्व का स्रोत बना दिया है। जीवनरक्षक दवाइयों पर कर शून्य होना चाहिए।

आयकर दाखिल करने वालों के लिए व्यक्तिगत छूट की सीमा 2.5 लाख रुपये से बढ़ाकर 5 लाख रुपये की जानी चाहिए। वरिष्ठ नागरिक बचत योजनाओं पर छूट चाहते हैं। यदि स्वास्थ्य बीमा योजनाओं में कर छूट प्रदान करने का निर्णय लिया जाता है तो कवरेज क्षेत्र बढ़ जाएगा। आगरा के जूता उद्यमियों को इस बजट से काफी उम्मीदें हैं। 1,000 रुपये से कम कीमत वाले जूतों पर 12% की जगह 5% जीएसटी लगना चाहिए, अन्यथा जूता उद्योग पटरी पर नहीं आ पाएगा।

लोगों का कहना है, कि आयकर की धारा 80डी के तहत वरिष्ठ नागरिकों को मिलने वाली छूट को बढ़ाकर एक लाख रुपये किया जाना चाहिए, जबकि सोने पर आयात शुल्क भी कम किया जाना चाहिए। बीमा पर जीएसटी दर 18 प्रतिशत से घटाकर 5 प्रतिशत की जानी चाहिए। आयकर छूट के साथ-साथ स्वास्थ्य सेवाएं भी आम आदमी के लिए जरूरी हैं। बजट में इन प्रावधानों की तत्काल आवश्यकता है। महिलाओं के आर्थिक और सामाजिक सशक्तिकरण के लिए विशेष योजनाएं शुरू की जानी चाहिए ताकि अर्थव्यवस्था पर उनका प्रभाव देखा जा सके।