जागो ड्राइवर जागो..सेना के वाहनों में नई तकनीक से रुकेंगे सड़क हादसे


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स्टोरी हाइलाइट्स

लंबे सफर में नींद के खतरों से बचाने ईजाद की डिवाइस..!

भारतीय सेना ने अब ऐक ऐसी डिवाइस आजमाई और अपनाई है, जो रोड एक्सिडेंट रोकने में मददगार है। इसके कई सफल ट्रायल के बाद इस डिवाइस को सेना अपने मिलिट्री व्हीकल्स में इस्तेमाल करने लगी है। इस एक्सिडेंट रोकने वाली डिवाइस का पेंटेट भी भारतीय सेना को मिल गया है। यह एक्सिडेंट प्रिवेंशन डिवाइस आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर आधारित है। इसे भारतीय सेना के कर्नल कुलदीप यादव ने विकसित किया है।

खबरों के मुताबिक इस डिवाइस को पहाड़ों, रेगिस्तान और हाईवे में मिलिट्री वीइकल्स में टेस्ट किया गया। सफल परीक्षण के बाद इसे सेना के वीइकल्स में लगाया गया है। सेना कई इलाकों में अपने वीइकल में इसका इस्तेमाल कर रही है। इस डिवाइस का सिविल इस्तेमाल भी किया जा सकता है और कई राज्य अपनी बसों में इसके इस्तेमाल करने पर विचार कर रहे हैं। आंध्र प्रदेश और तेलंगाना ने अपनी स्टेट ट्रांसपोर्ट बसों में इसका ट्रायल किया। जो काफी सफल रहा। सेना की यह डिवाइस कॉस्ट इफेक्टिव भी है। और इसे हर तरह के मौसम व कंडीशन में इस्तेमाल किया जा सकता है।

गौरतलब है कि हाल में महिंद्रा कंपनी ने अर्माडो वाहन को खासतौर पर सेना के लिए बनाया है। इस कार को जरुरत पढ़ने पर अपग्रेड कर मैदान में बड़े-बड़े ऑपरेशन के लिए भी तैयार किया जा सकता है। ये वाहन बैलेस्टिक हमले से भी सुरक्षा देने की क्षमता रखती है व सामने, साइड और पीछे की तरफ से लड़ाई वाली जगह पर चार सैनिकों को युद्ध के सामान के साथ चल सकती है।

चीखता है अलार्म

इस डिवाइस का आइडिया कर्नल कुलदीप यादव को तब आया जब वह नॉर्थ ईस्ट में मिलिट्री यूनिट कमांड कर रहे थे। जहां सेना मिलिट्री वीइकल का काफी इस्तेमाल करती है और दूर दूर तक सैनिकों की तैनाती है। यहां लंबी दूरी तय करनी होती है। लंबे वक्त तक ड्राइविंग करने से कई बार ड्राइवर को थकान की वजह से झपकी आने लगती है। इससे एक्सिडेंट का खतरा बढ़ जाता है। इस एक्सिडेंट प्रिवेंशन डिवाइस का इस्तेमाल आसान है। यह किसी भी वाहन में आसानी से लगाई और हटाई जा सकती है। यह डिवाइस ड्राइवर को मॉनिटर करती है और जैसी ही लगता है कि ड्राइवर को झपकी आ सकती है यह बहुत तेज अलार्म बजाती है और एक्सिडेंट होने का खतरा कम करती है।