ज्ञानवापी मामले पर डिप्टी सीएम मौर्य बोले- "सत्य ही शिव" है, ओवैसी का झलका दर्द


स्टोरी हाइलाइट्स

वाराणसी की ज्ञानवापी मस्जिद में सर्वे का काम खत्म हो गया है. अब कल यानी 17 मई को कोर्ट में रिपोर्ट सौंपी जाएगी. इस दौरान कोर्ट ने अपने आदेश में शिवलिंग के आसपास आवाजाही पर रोक लगा दी है. लेकिन अब इस मामले पर एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने पलटवार करते हुए एक बयान जारी किया है..!

वाराणसी कोर्ट के आदेश पर ज्ञानवापी मस्जिद परिसर का सर्वे कार्य पूरा किया गया। तीसरे और आखिरी दिन के सर्वे के बाद हिंदू पक्ष के वकील ने दावा किया कि शिवलिंग तालाब में मिला है। वहीं, मुस्लिम पक्ष ने आरोपों का खंडन करते हुए कहा कि अंदर कुछ नहीं मिला।

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हालांकि इन सबके बीच उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य का ट्विट जमकर वायरल हों रहा है, ट्विट में उन्होंने लिखा, "सत्य" को आप कितना भी छुपा लीजिये लेकिन एक दिन सामने आ ही जाता है क्योंकि "सत्य ही शिव" है।

दूसरी ओर, एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने पलटवार करते हुए कहा, "ज्ञानवापी एक मस्जिद थी और इंशाअल्लाह यह कयामत तक रहेगी। बाबरी के बाद अब ज्ञानवापी पर हमला नहीं होने देंगे। ओवैसी के इस बयान में दर्द साफ़ झलक रहा था।


एक दुसरे ट्विट में मौर्य ने लिखा, बुद्ध पूर्णिमा के अवसर पर ज्ञानवापी में बाबा महादेव के प्रकटीकरण ने देश की सनातन हिंदू परंपरा को एक पौराणिक संदेश दिया है।

क्या है पूरा मामला?

दरअसल, वाराणसी कोर्ट ने 17 मई तक ज्ञानवापी मस्जिद परिसर का सर्वे करने का आदेश दिया था। अंतिम दिन का सर्वे खत्म होने के बाद हिंदू पक्ष के वकील विष्णु जैन ने कहा, अंदर तालाब में शिवलिंग मिला है। लेकिन अब वह इस मामले में सिविल कोर्ट जाएंगे।

एक अन्य हिंदू वकील मदन मोहन यादव ने दावा किया कि जैसे ही पानी कम किया, तो सामने एक विशाल शिवलिंग दिखाई दिया। उनका दावा है कि नंदी की मूर्ति के ठीक सामने मिले शिवलिंग का व्यास 12 फीट 8 इंच है। इसकी गहराई भी काफी है। वहीं सर्वे में हिंदू पक्ष से शामिल सोहनलाल आर्य ने कहा कि आज बाबा मिल गए हैं, कल्पना से ज्यादा सबूत मिले हैं।

मुस्लिम पक्ष ने दावे का किया खंडन-

मुस्लिम पक्ष ने आरोपों का खंडन किया। मुस्लिम पक्ष ने कहा कि अंदर कुछ भी नहीं मिला, जिस पर हिंदू पक्ष दावा कर रहा है। इस मामले पर कोर्ट की गाइडलाइन का हवाला देते हुए कोर्ट कमिश्नर अजय कुमार मिश्रा चुप रहें। उधर, वाराणसी के डीएम ने कहा कि सर्वे में शामिल किसी भी सदस्य द्वारा सर्वेक्षण के बारे में कोई जानकारी नहीं दी गई है, क्योंकि मामला अभी कोर्ट में है। सर्वे की रिपोर्ट कल कोर्ट में दाखिल होगी।