राहुल गांधी ने मर्यादा ताक पर रखकर दिया बयान, अपने वक्तव्य के लिए तुरंत माफी मांगें- CM


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स्टोरी हाइलाइट्स

प्रधानमंत्री के बारे में दिए गए राहुल गांधी के सरेंडर वाले बयान पर सीएम यादव समेत भाजपा ने खोला मोर्चा, पहले बुद्धि का सृजन कर लें राहुल गांधी..!!

मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने लोकसभा में विपक्ष के नेता और कांग्रेस सांसद राहुल गांधी के बयान पर नाराजगी जताई है। राहुल गांधी ने भोपाल में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लेकर आपत्तिजनक टिप्पणी की थी। इस टिप्पणी को लेकर सीएम यादव समेत भाजपा ने राहुल गांधी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है।

सीएम मोहन यादव ने कहा, “राहुल गांधी को इसके लिए माफी मांगनी चाहिए। इसीलिए उन्हें 'पप्पू' कहा जाता है। उनके व्यवहार और रवैये से पता चलता है कि वे अभी परिपक्व नहीं हुए हैं।”

"दुर्भाग्यपूर्ण है कि विपक्षी नेता जिस तरह से बिना किसी मर्यादा के बोल रहे हैं, उससे उनकी प्रतिष्ठा तो धूमिल हो ही रही है, साथ ही हमारे देश की संस्कृति के भी खिलाफ जा रहा है। उन्होंने जो शब्द इस्तेमाल किए हैं, वे उनकी संकीर्णता को दर्शाते हैं। मैं उनकी कड़ी निंदा करता हूं। 

उनकी ही पार्टी के सांसद दुनिया भर में घूम-घूम कर यह बात कह रहे हैं कि कैसे प्रधानमंत्री के नेतृत्व में भारतीय सेना ने पाकिस्तान को मुंहतोड़ जवाब दिया। कांग्रेस को इसकी कीमत चुकानी पड़ेगी। कांग्रेस ही जानती है कि इस तरह का व्यवहार करके वे पार्टी को कहां ले जाएंगे।" उनमें गंभीरता और परिपक्वता का अभाव है।

लोकसभा में विपक्ष के नेता और कांग्रेस सांसद राहुल गांधी के बयान पर भाजपा सांसद सुधांशु त्रिवेदी ने कहा, “स्वघोषित, स्वयंभू, सर्वोच्च नेता, विपक्ष के नेता राहुल गांधी बहुत घटिया, निम्नस्तरीय बयान देकर दुनिया को बता रहे हैं कि विपक्ष का नेता बनने के बाद भी उनमें गंभीरता और परिपक्वता का अभाव है, जो इस पद के लिए जरूरी है। ऑपरेशन सिंदूर की सफलता पर जिस तरह से राहुल गांधी ने हमारे सशस्त्र बलों की बहादुरी और आत्मसमर्पण पर सेना के अधिकारियों की ब्रीफिंग की तुलना की, उससे पता चलता है कि उनकी मानसिकता कितनी बीमार और खतरनाक हो गई है।”

आपको बता दें, कि राहुल गांधी ने भोपाल में कहा था, “अगर आप भाजपा-आरएसएस के लोगों पर थोड़ा भी दबाव डालते हैं, तो वे डरकर भाग जाते हैं। डोनाल्ड ट्रंप ने वहीं से फोन करके कहा- नरेंद्र... आत्मसमर्पण कर दो। यहां नरेंद्र मोदी ने 'यस सर' कहकर ट्रंप के निर्देशों का पालन किया। 1971 में एक समय ऐसा भी था, जब सातवां अमेरिकी काफिला आया था, लेकिन इंदिरा गांधी जी ने कहा था- मुझे जो करना है, मैं करूंगी।”