भोपाल: मप्र सरकार का वन विभाग सीधी जिले में स्थित सोन घडिय़ाल अभयारण्य का कुछ हिस्सा डिनोटिफाई कराने के लिये केंद्र सरकार के देहरादून में स्थित डब्ल्युआईआई (वाईल्ड लाईफ इंस्टीट्यूट आफ इण्डिया) से वैज्ञानिक अध्ययन कराने जा रही है। यह कार्यवाही मुख्यमंत्री मोहन यादव के निर्देश पर की जा रही है।
दरअसल, वन विभाग को निर्देश दिये गये थे कि वह सोन घडिय़ाल के अधिसूचित क्षेत्र की लंबाई 209 किमी में जिन क्षेत्रों में घडिय़ालों का प्रजनन स्थल या रहवास नहीं है, ऐसे क्षेत्र का वैज्ञानिक अध्ययन कराकर कुछ क्षेत्र को अभयारण्य से पृथक कराने की कार्यवाही की जाये। इस निर्देश के पालन में अब वन विभाग ने कहा है कि वह डब्ल्युआईआई देहरादून से वैज्ञानिक अध्ययन कराने की कार्यवाही करा रहा है।
उल्लेखनीय है कि सोन घडिय़ाल अभयारण्य प्रोजेक्ट क्रोकोडाइल के अंतर्गत घडिय़ाल संरक्षण व जनसंख्या वृद्धि हेतु वर्ष 1981 में स्थापित किया गया। यह सोन नदी का 160 किमी, 23 किमी बनास नदी व 26 किमी गोपद नदी का क्षेत्र मिलाकर कुल 209 किमी क्षेत्र को अभयारण्य के रूप में घोषित किया गया।