मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव और केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने जबलपुर में प्रदेश के सबसे बड़े फ्लाईओवर का लोकार्पण किया। इसके साथ ही प्रदेश की जनता को विभिन्न निर्माण कार्यों का भूमि-पूजन और लोकार्पण कर प्रदेशवासियों को सौगात दी।
केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने प्रदेशवासियों के लिए 15000 करोड रुपए के नवीन सड़क निर्माण कार्यों की घोषणा की। सभी कार्य 6 महीने में शुरु किए जाएंगे। बेहतर सड़क कनेक्टिविटी से जबलपुर की प्रगति को नई गति देते हुए आज मध्य प्रदेश के जबलपुर सीएम डॉ. मोहन यादव एवं केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने जबलपुर में आयोजित ₹ 4,250 करोड़ से अधिक के निवेश से 174 किमी लंबी 9 सड़क परियोजनाओं के लोकार्पण एवं शिलान्यास कार्यक्रम का शुभारंभ दीप प्रज्ज्वलित कर किया।
लोकार्पित हुई परियोजनाओं में सीआरआईएफ के अंतर्गत जबलपुर शहर में दमोह नाका से मेडिकल रोड तक 7 किमी लंबा एलिवेटेड फ्लाईओवर, हिरन-सिंदूर खंड में नौरादेही वन्यजीव अभ्यारण्य भाग का 4-लेन चौड़ीकरण और कटनी बाईपास का चौड़ीकरण शामिल है। इसके साथ ही अन्य 6 राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं का शिलान्यास हुआ
गडकरी ने कहा- उस समय मप्र में कांग्रेस का शासन था। कमलनाथ मुख्यमंत्री थे। मैंने कमलनाथ से निवेदन किया, आप सीआरएफ में ये प्रपोजल भेज दो। इससे दोगुना पैसा मैं आपको राष्ट्रीय राजमार्ग में दूंगा। उन्होंने प्रपोजल भेज दिया। बहुत अच्छा फ्लाईओवर आज जनता को मिला है। देश में पहली बार ऐसा हुआ था कि सीआरईएफ से रुपए का काम स्वीकृत किया गया हो।
गडकरी ने कहा- जॉन एफ कैनेडी ने कहा था कि अमेरिका के रास्ते अच्छे इसलिए अमेरिका धनवान, अमेरिका धनवान है इसलिए अमेरिका के रास्ते अच्छे नहीं हैं। फ्लाईओवर शुरू होने से मदनमहल से दमोह नाका तक की सात किलोमीटर की दूरी सात मिनट में ही पूरी हो सकेगी। पहले यह दूरी तय करने में 45 मिनट का समय लगता था।
इन परियोजनाओं से प्रदेश में बेहतर कनेक्टिविटी होगी, जिससे निवेश में वृद्धि होगी, क्षेत्रीय आर्थिक विकास को बल मिलेगा और रोजगार सृजन के नए अवसर निर्माण होंगे। जबलपुर फ्लाईओवर से शहर में ट्रैफिक जाम से निजात मिलेगी, जिससे समय एवं ईंधन की बचत होगी और प्रदूषण में कमी आएगी। जबलपुर रिंग रोड के पूर्ण होने से शहर में भारी वाहनों के दबाव में कमी आएगी एवं सड़क दुर्घटनाओं पर अंकुश लगेगा। रीवा एवं कटनी बाईपास के चौड़ीकरण से वाराणसी से नागपुर के संपूर्ण खंड पर 4-लेन कनेक्टिविटी होगी।
नौरादेही वन क्षेत्रों में न्यूनतम हस्तक्षेप आधारित विकास कार्यों से वन्यजीव संरक्षण के प्रयासों को मजबूती मिलेगी। डिंडोरी, मंडला और बालाघाट जैसे आदिवासी क्षेत्रों का सड़क संपर्क और मजबूत होगा। बाईपास चौड़ीकरण कार्य पूर्ण होने से रीवा-जबलपुर और भोपाल-जबलपुर में 20 मिनट की बचत होगी। कान्हा एवं बांधवगढ़ राष्ट्रीय उद्यानों तक पहूंच आसान होगी, पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा।
इस कार्यक्रम के माध्यम से आज मध्य प्रदेश में 15,000 करोड़ रुपए की लागत वाली नई राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं की घोषणा हुई । इनमें 5,500 करोड़ रुपए की लागत से एक ‘टायगर कॉरिडोर’ परियोजना भी शामिल है, जिसमें कान्हा, बांधवगढ़, पन्ना और पेंच को जोडा जाएगा। इससे जबलपुर से टायगर रिजर्व तक 4-लेन की कनेक्टिविटी होगी। मध्य प्रदेश में पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा और आर्थिक विकास होने में मदद होगी।
इसके साथ ही सीआरआईएफ के अंतर्गत आज 1500 करोड़ रुपए की लागत वाली परियोजनाओं की घोषणा हुई । इसके अलावा विशेष रूप से 15,000 करोड़ रुपए की लागत वाले और 255 किमी लंबाई के भोपाल-जबलपुर नए ग्रीनफील्ड हाईवे की घोषण की हुई । 10,000 करोड़ रुपए की लागत वाले और 220 किमी लंबाई के लखनादौन से रायपुर 4-लेन हाईस्पीड कॉरिडोर की भी घोषणा हुई । इंदौर और भोपाल के लिए महत्वपूर्ण 12,000 करोड़ रुपए की लागत वाले और 107 किमी लंबाई के मार्ग की घोषणा हुई । इसके साथ साथ 7,000 करोड़ से अधिक के निवेश वाले मार्ग कार्यों की घोषणा हुई।
इस मौके पर बोलते हुए केंद्रीय मंत्री ने कहा, उस समय मप्र में कांग्रेस का शासन था। कमलनाथ मुख्यमंत्री थे। मैंने कमलनाथ से निवेदन किया, आप सीआरएफ में ये प्रपोजल भेज दो। इससे दोगुना पैसा मैं आपको राष्ट्रीय राजमार्ग में दूंगा। उन्होंने प्रपोजल भेज दिया। बहुत अच्छा फ्लाईओवर जनता को मिला है। देश में पहली बार ऐसा हुआ था कि सीआरईएफ से रुपए का काम स्वीकृत किया गया हो।
जॉन एफ कैनेडी ने कहा था कि अमेरिका के रास्ते अच्छे इसलिए अमेरिका धनवान है। फ्लाईओवर शुरू होने से मदनमहल से दमोह नाका तक की सात किलोमीटर की दूरी सात मिनट में ही पूरी हो सकेगी। पहले यह दूरी तय करने में 45 मिनट का समय लगता था। टाइगर कॉरीडोर 4 लेन सड़क कनेक्टिवटी होगी। 5500 करोड़ रुपए से बनेगी। बांधवगढ़, पन्ना, कान्हा, पेंच टाइगर रिजर्व जोड़े जाएंगे।
गडकरी बोले, गांव का पानी गांव, खेत का खेत, और घर का घर में रहे। हमने देश में 2000 अमृत सरोवर बनाए। इसमें मप्र में 109 सरोवर बने। इसमें भी जबलपुर प्रभाग में रोड में जो मिट्टी लगती है। वो मिट्टी निकालकर और नदी-नालों का गहरीकरण कर रोड में उपयोग में लाई। रोड नेटवर्क की बात करें तो एक समय ऐसा था जब बीजेपी शासन नहीं था। बहुत से लोग नागपुर उतरते थे। हमने 3 लाख करोड़ रुपए के प्रोजेक्ट मप्र को दिए। 65 हजार करोड़ के प्रोजेक्ट चल रहे हैं।
गडकरी बोले- ओंकारेश्वर के नजदीक सुंदर ब्रिज बनाया है। उज्जैन से कोटा जाने के लिए ढाई घंटे लगेंगे। भोपाल से कानपुर की दूरी 8 घंटे में पूरी होगी। आगरा ग्वालियर रोड का भूमि पूजन होने वाला है। प्रधानमंत्री से भूमिपूजन के लिए अनुरोध किया। दिल्ली से मुंबई हाईवे बना रहे है। मुंबई में काम अंतिम चरण में है।
गडकरी ने कहा कि भोपाल से जबलपुर से तक ग्रीन फील्ड हाईवे बनेगा। इस पर 15,000 करोड रुपए खर्च होंगे। यह 255 किलोमीटर लंबा होगा। दिसंबर तक डीपीआर मंजूर होगी।गडकरी बोले राकेश सिंह जब सांसद थे तब उन्होंने इस ब्रिज की मांग की है। सीआरएस का फंड काफी कम रहता है। उसे कम या ज्यादा नहीं कर सकते। देश के इतिहास में पहली बार 1200 करोड़ का फ्लाईओवर सीआरएफ पर मंजूर हुआ। मैं जबलपुर आया था तब बताया गया कि ये राष्ट्रीय राजमार्ग है, वापस गया, तो पता चला राष्ट्रीय राजमार्ग नहीं है। मैंने कमलनाथ जी से निवेदन किया कि सीआरएफ में प्रपोजल भेज दो, मैं दो गुनी राशि दूंगा। जबलपुर की जनता का अभिनंदन।