Global Millets: ग्लोबल मिलेट्स सम्मेलन में PM मोदी बोले- श्री अन्न यानी कम पानी में ज्यादा फसल की पैदावार


स्टोरी हाइलाइट्स

पीएम मोदी ने आज दो दिन तक चलने वाले ग्लोबल मिलेट्स सम्मेलन का उद्घाटन किया. इस दौरान कार्यक्रम में 100 से ज्यादा देशों के कृषि मंत्रियों, शोधार्थियों और विज्ञानियों का जमावड़ा लगा...! देंखे लाइव

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज 8 मार्च के दिन नई दिल्ली में ग्लोबल मिलेट्स सम्मेलन का उद्घाटन किया. यहां संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि ग्लोबल मिलेट्स (श्री अन्न) कॉन्फ्रेंस जैसे आयोजन न सिर्फ Global Goods के लिए जरूरी हैं, बल्कि Global Goods में भारत की बढ़ती जिम्मेदारी का भी प्रतीक हैं.

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उन्होंने कहा कि जब हम किसी संकल्प को आगे बढ़ाते हैं, तो उसे सिद्धि तक पहुंचाने की जिम्मेदारी भी उतनी ही अहम होती है. मुझे खुशी है कि आज विश्व जब 'international millet year' मना रहा है, तो भारत इस अभियान की अगुवाई कर रहा है. बाजरे को अब 'श्री अन्ना' के नाम से जाना जाता है. यह सिर्फ भोजन या कृषि तक ही सीमित नहीं है. श्री अन्ना अब भारत के संपूर्ण विकास का माध्यम बन रहे हैं.

पीएम मोदी बोले, हमारे युवा साथी किस प्रकार के नए-नए स्टार्टअप लेकर इस क्षेत्र में आए हैं, ये भी अपने आप में प्रभावित करने वाला है. ये सभी भारत की प्रतिबद्धता को प्रदर्शित करता है. श्री अन्ना को वैश्विक आंदोलन बनाने के लिए हमने अथक प्रयास किया है. 2018 में हमने मोटे अनाज को पोषक अनाज घोषित किया था.

उन्होंने बताया कि इसे हासिल करने के लिए हमने किसानों को जागरूक किया और बाजार में रुचि पैदा की. 'श्री अन्न' केवल खेती या खाने तक सीमित नहीं हैं, जो लोग भारत की परंपराओं से परिचित हैं, वह ये भी जानते हैं कि हमारे यहां किसी के आगे 'श्री' ऐसे ही नहीं जुड़ता है. जहां 'श्री' होती हैं वहां समृद्धि भी होती है और समग्रता भी होती है. 

पीएम मोदी ने आगे कहा कि भारत में बाजरा मुख्य रूप से 12-13 राज्यों में उगाया जाता है. हालांकि, इन राज्यों में प्रति व्यक्ति घरेलू खपत 2-3 किलोग्राम प्रति माह से अधिक नहीं थी. आज यह बढ़कर 14 किग्रा प्रति माह हो गया है. 'श्री अन्न' भी भारत में समग्र विकास का माध्यम बन रहा है, इसमे गांव भी जुड़ा है और गरीब भी जुड़ा है.

उन्होंने कहा कि श्री अन्न यानी देश के छोटे किसानों के समृद्धि का द्वार, श्री अन्न यानी देश के करोड़ों लोगों के पोषण का कर्णधार, श्री अन्न यानी देश के आदिवासी समाज का सत्कार, श्री अन्न यानी कम पानी में ज्यादा फसल की पैदावार, श्री अन्न यानी केमिकल मुक्त खेती का बड़ा आधार, श्री अन्न यानी क्लाइमेट चेंज की चुनौतियों से निपटने में मददगार..! 

पीएम मोदी ने बताया कि भारत का बाजरा मिशन 2.5 करोड़ सीमांत किसानों के लिए वरदान बनेगा. आजादी के बाद यह पहली बार है कि कोई सरकार बाजरा उत्पादक किसानों की जरूरतों पर ध्यान दे रही है. जब बाजरा का बाजार बढ़ेगा, तो इससे 2.5 करोड़ सीमांत किसानों की आय में वृद्धि होगी.

उन्होंने आगे कहा कि इंटरनेशनल सोलर एलायंस के रूप में आज भारत का ये प्रयास sustainable planet के लिए एक प्रभावी मंच का काम कर रहा है. चाहे LIFE मिशन की अगुवाई हो, Climate Change से जुड़े लक्ष्यों को समय से पहले हासिल करना हो, हम अपनी विरासत से प्रेरणा लेते हैं, समाज में बदलाव को शुरू करते हैं और उसे विश्व कल्याण की भावना तक लेकर जाते हैं. यही आज भारत के 'मिलेट मूवमेंट' में भी दिख रहा है.

पीएम मोदी ने बताया कि चाहे वह LiFE मिशन हो, या समय से पहले जलवायु कार्रवाई लक्ष्यों को प्राप्त करना, भारत एक स्थायी ग्रह के प्रयासों का नेतृत्व करता है. Climate resilient होना मिलेट्स की ताकत है. बहुत Adverse Climatic Conditions में भी मिलेट्स का आसानी से उत्पादन हो जाता है. इसकी पैदावार में अपेक्षाकृत पानी भी कम लगता है, जिससे Water crisis वाली जगहों के लिए ये एक पसंदीदा फसल बन जाती है.