MP Weather Update: मध्य प्रदेश में एक बार फिर भारी बारिश का सिस्टम सक्रिय हो गया है। राजधानी भोपाल समेत कई जिलों में अगस्त महीने की शुरुआत बूंदाबांदी से हुई। मौसम विभाग ने गुरुवार को सागर, भोपाल, जबलपुर, नर्मदापुरम, ग्वालियर-चंबल संभाग के 19 जिलों में भारी बारिश की चेतावनी जारी की है। बुधवार को भी नर्मदापुरम, भोपाल और रायसेन समेत 13 जिलों में बारिश हुई।
प्रदेश के कई जिलों में अगस्त के पहले सप्ताह में बारिश की संभावना जताई जा रही है। राजधानी भोपाल में भी अगले 3 से 4 दिन तक बारिश जारी रहेगी। यहां रुक-रुककर बारिश का सिलसिला जारी रहेगा।
भोपाल में बड़े तालाब का जलस्तर बढ़ने से कभी भी भदभदा के गेट खोले जा सकते हैं। राजधानी भोपाल में अगस्त माह के पहले दिन सुबह से ही हो रही बारिश से जनजीवन अस्त व्यस्त सा नज़र आ रहा है।
मौसम विभाग ने बताया कि अगले 4 दिनों में मध्य प्रदेश में कहीं तेज तो कहीं हल्की बारिश हो सकती है। मानसून की मात्रा अभी भी थोड़ी अधिक है। अरब सागर के ऊपर भी चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र बना हुआ है। एक और साइक्लोनिक सर्कुलेशन बन रहा है। इनकी जोरदार सक्रियता कभी भी देखी जा सकती है।
गुरुवार को भोपाल, जबलपुर, रायसेन, विदिशा, नर्मदापुरम, छिंदवाड़ा, पांढुना, बैतूल, सिवनी, नरसिंहपुर, बालाघाट, मंडला, डिंडोरी, अनुपपुर शहडोल, उमरिया, कटनी, दमोह, सागर, पन्ना, सतना, रीवा, मऊगंज, सीधी सिंघरा, सिंधनगर, दतिया, शिवपुरी, श्योपुर, भिंड, निवाड़ी अशोकनगर, हरदा जिलों में भारी बारिश का अलर्ट। जबकि इंदौर, उज्जैन समेत अन्य जिलों में गरज-चमक के साथ हल्की बारिश हो सकती है।
मध्य प्रदेश में मानसून ने 40 दिन पहले 21 जून को प्रवेश किया था। इसके बाद मध्य प्रदेश में 18.9 इंच बारिश हुई। जो सीजन की 51 प्रतिशत अधिक है। सिविनी जिले में सर्वाधिक 31.74 इंच बारिश हुई। रीवा में बारिश अभी 8 इंच तक नहीं पहुंची है, लेकिन राहत की बात यह है कि जो सिस्टम अभी सक्रिय है, उसका सबसे ज्यादा असर मप्र के पूर्वी हिस्से यानी सागर, जबलपुर, शहडोल और रीवा संभाग में होगा। कुल मिलाकर, एमपी में 7% अधिक और पूर्वी हिस्से में 1% कम बारिश हुई। जबकि पश्चिमी मध्य प्रदेश में 14 फीसदी ज्यादा पानी कम हुआ है।
पुराण डेस्क