स्टोरी हाइलाइट्स
बंगाल चुनाव: बंगाल में चुनावी मतदान के बीच ममता बेनर्जी के गोत्र वाले बयान पर एक अलग ही राजनीति शुरू हो गई है. ममता बेनर्जी के बयान पर बीजेपी नेताओं के...
बंगाल चुनाव: ममता के गोत्र वाले बयान पर, ओवैसी की हुई एंट्री, कहा- मेरे जैसे लोगों का क्या होना चाहिए ..
दिल्ली: बंगाल में चुनावी मतदान के बीच ममता बेनर्जी के गोत्र वाले बयान पर एक अलग ही राजनीति शुरू हो गई है. ममता बेनर्जी के बयान पर बीजेपी नेताओं के साथ ही अब एआईएमआईएम नेता ओवैसी की भी एंट्री हो गई है. ओवैसी ने भी ममता के गोत्र वाले बयान पर निशाना साधते हुए कहा कि, मेरे जैसे लोगों का क्या होना चाहिए जो ना शांडिल्य हैं और ना ही जनेऊधारी. ओवैसी अपने इस बयान से बंगाल की जनता को यह बताना चाहते है कि अब सभी पार्टी अपना हिंदू चेहरा दिखाने में लगी हुई है.
ओवैसी ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट से ट्वीट करते हुए लिखा, मेरे जैसे लोगों का क्या होना चाहिए जो ना शांडिल्य हैं और ना ही जनेऊधारी. जो ना ही किसी खास भगवान के भक्त है और ना ही चालीसा या कोई और पाठ करता है. आज हर पार्टी चुनाव जीतने के लिए अपना हिन्दू कार्ड खेलने में लगी हुई है. यह सब कुछ अनैतिक, अपमानजनक है जो काफी सफल नहीं होगा.
https://twitter.com/asadowaisi/status/1377128479141945347?s=20
ममता बेनर्जी का बयान :
ममता बेनर्जी ने नंदीग्राम में एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा था कि, जब मैं मंदिर गई थी तो पुरोहित ने पूछा कि आपका गोत्र क्या है ? तब मुझे याद आया कि त्रिपुरेश्वरी मंदिर में मैने अपना गोत्र मां, माटी और मानुष बताया था. लेकिन आज जब मुझसे पूछा गया तो मैंने कहा कि पर्सनल गोत्र शांडिल्य है, लेकिन मैं समझती हूं कि मेरा गोत्र मां-माटी-मानुष ही है.
केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह का बयान :
ममता के इस बयान पर केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने उनपर निशाना साधते हुए अपने ट्वीट अकाउंट पर लिखा, रोहिंग्या को बंगाल में वोट के लिए बसाने वाले, दुर्गा/काली पूजा को रोकने वाले, हिंदुओ को अपमानित करने वाले, आज अपनी हार के डर से गोत्र पर आ गए . “शांडिल्य गोत्र” सनातन और राष्ट्र के लिए समर्पित है, वोट के लिए नहीं. गिरिराज सिंह ने इससे पहले कहा था कि, "ममता दीदी, अब तो पता करना होगा कि रोहिंग्या और घुसपैठियों का भी गोत्र शांडिल्य है क्या ?
दिलीप घोष का बयान :
साथ ही दिलीप घोष ने भी ममता बेनर्जी पर आरोप लगते हुए कहा कि ममता दीदी अलग - अलग समय पर अपना गोत्र बदलती रहती हैं. कभी उनका गोत्र भारतीय होता है, तो कभी शाण्डिल्य और अब उन्होंने अपना गोत्र माँ, माटी, मानुष बताया है. अब उन्हें पहले खुद ही तय कर लेना चाहिए की उनका गोत्र क्या है.