पहले स्वदेशी(indigene) एयरक्राफ्ट कैरियर आईएनएस(INS) विक्रांत(VIKRANT) का ट्रायल हुआ शुरू, जानें क्या हैं इसकी खासियतें(specialty)


स्टोरी हाइलाइट्स

भारत के पहले स्वदेशी(indigene) एयरक्राफ्ट कैरियर आईएनएस(INS) विक्रांत(VIKRANT) को समुद्री परीक्षण के बाद जल्द ही हिंद महासागर(Indian Ocean) और बंगाल की खाड़ी के बीच तैनात किया जाएगा।

पहले स्वदेशी(indigene) एयरक्राफ्ट कैरियर आईएनएस(INS) विक्रांत (VIKRANT) का ट्रायल हुआ शुरू, जानें क्या हैं इसकी खासियतें(specialty) भारत के पहले स्वदेशी(indigene) एयरक्राफ्ट कैरियर आईएनएस(INS) विक्रांत(VIKRANT) को समुद्री परीक्षण के बाद जल्द ही हिंद महासागर(Indian Ocean) और बंगाल की खाड़ी के बीच तैनात किया जाएगा। सूत्रों के मुताबिक, आईएनएस(INS) विक्रांत(VIKRANT) का हार्बर ट्रायल पूरा हो चुका है। वहीं, जल्द ही इसका बेसिन ट्रायल शुरू किया जाएगा। बताया गया है कि स्वदेशी(indigene) एयरक्राफ्ट कैरियर आईएनएस(INS) विक्रांत(VIKRANT) 2023 तक नौसेना में शामिल हो सकता है। सूत्रों के मुताबिक, आईएनएस(INS) विक्रांत(VIKRANT) का हार्बर ट्रायल्स संपन्न हो चुका है, लेकिन कोरोना संकट के कारण इसके बेसिन ट्रायल्स में देरी हुई है। बता दें कि बेसिन ट्रायल्स में जहाज(SHIP) में लगे सारे उपकरणों की जांच की जाती है और इस बात का आकलन किया जाता है कि क्या जहाज(SHIP) समुद्र(ocean) में उतरने में सक्षम है या नहीं। बताया गया है कि भारतीय नौसेना ने कहा है कि वह इसे पूर्वी समुद्र(ocean) तट पर विशाखापट्टनम में तैनात करना चाहती है। वहीं, रूस से खरीदे गए एयरक्राफ्ट कैरियर आईएनएस(INS) विक्रमादित्य को पश्चिमी समुद्र(ocean) तट पर कारवार में तैनात किया गया है। भारत लंबे अरसे से प्रयास कर रहा है कि वह तीन कैरियर बैटल ग्रुप्स के साथ समुद्र(ocean) की सुरक्षा कर सके। बता दें कि, कैरियर बैटल ग्रुप में एयरक्राफ्ट कैरियर के साथ कई दूसरे जंगी जहाज(SHIP), हेलीकॉप्टर्स और सबमरीन का एक बेड़ा होता है। आईएनएस(INS) विक्रांत(VIKRANT) की खासियतें(specialty)... आईएनएस(INS) विक्रांत(VIKRANT) की लंबाई 262 मीटर है। इसका निर्माण कार्य फरवरी 2009 में कोचिन शिपयार्ड में शुरू किया गया था। इस एयरक्राफ्ट कैरियर पर 26 लड़ाकू विमान और 10 हेलीकॉप्टर रखे जा सकते हैं।