फौजा सिंह हिट एंड रन मामले में NRI गिरफ्तार, टर्बन्ड टॉरनेडो ने मैराथन में दी उम्र को मात


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स्टोरी हाइलाइट्स

भारतीय मूल के ब्रिटिश नागरिक, फौजा सिंह ने मुंबई से लेकर कनाडा और लंदन तक मैराथन दौड़कर अपनी पहचान बनाई..!!

114 वर्षीय फौजा सिंह का सोमवार 14 जुलाई को पंजाब के जालंधर में एक सड़क दुर्घटना में निधन हो गया। भारतीय मूल के ब्रिटिश नागरिक, फौजा सिंह ने मुंबई से लेकर कनाडा और लंदन तक मैराथन दौड़कर अपनी पहचान बनाई।

फौजा सिंह का जन्म 1 अप्रैल, 1911 को पंजाब के जालंधर ज़िले के ब्यास पिंड में हुआ था। चार भाई-बहनों में सबसे छोटे फौजा बचपन में शारीरिक रूप से कमजोर थे और पांच साल की उम्र तक चल नहीं सकते थे, लेकिन असाधारण इच्छाशक्ति से उन्होंने इस कमजोरी को अपनी ताकत बना लिया। बचपन से ही दौड़ने के शौकीन फौजा 1947 में भारत-पाकिस्तान के बंटवारे से काफी प्रभावित हुए थे।

उन्होंने 89 साल की उम्र में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मैराथन दौड़ना शुरू किया। इस उम्र में मैराथन दौड़ने के उनके फैसले ने लोगों को हैरान कर दिया। फौजा सिंह अपने जुनून के कारण 'टर्बन टॉरनेडो' के नाम से जाने जाते थे। यही उनकी जीवनी का शीर्षक भी है।

दुनिया के सबसे बुजुर्ग मैराथन धावक फौजा सिंह की जालंधर में एक सड़क दुर्घटना में हुई मौत ने सभी को दुखी कर दिया है। 89 साल की उम्र में लंदन में अपनी पहली मैराथन दौड़ने वाले एथलीट फौजा सिंह ने दौड़ पूरी करने के बाद कहा, "शुरुआती 20 मील तो आसान थे, लेकिन आखिरी 6 मील तक मैं भगवान से बातें करता रहा.."।

2004 में, फौजा सिंह ने 93 वर्ष की आयु में लंदन मैराथन पूरी की। 2011 में, 100 वर्ष की आयु में, उन्होंने टोरंटो मैराथन पूरी की और 100 से अधिक आयु वर्ग में एक रिकॉर्ड बनाया। वे दुनिया के सबसे बुजुर्ग मैराथन धावक थे। लेकिन उन्हें जीवन में एक अफ़सोस था कि वे अंग्रेजी बोल या पढ़ नहीं सकते थे। 2012 के लंदन ओलंपिक में मशालवाहक रहे फौजा सिंह केवल पंजाबी जानते थे और उन्हें अंग्रेजी समझने के लिए अनुवादक की आवश्यकता थी।

राहत की बात ये है, कि पंजाब पुलिस ने 114 वर्षीय प्रसिद्ध मैराथन धावक फौजा सिंह की हिट एंड रन मामले को महज 30 घंटों में सुलझा लिया, पुलिस ने फौजा सिंह की मौत के मामले में NRI अमृतपाल सिंह ढिल्लों को गिरफ्तार कर लिया है। साथ ही, पुलिस ने घटना में इस्तेमाल की गई फॉर्च्यूनर कार भी जब्त कर ली है।

जानकारी के अनुसार, पंजाब पुलिस ने इस मामले में मंगलवार देर रात 30 वर्षीय NRI अमृतपाल सिंह ढिल्लों को गिरफ्तार किया और उनकी फॉर्च्यूनर कार भी जब्त कर ली। 

पुलिस के अनुसार, फौजा सिंह को टक्कर मारने वाले आरोपी अमृतपाल सिंह ढिल्लों को करतारपुर से गिरफ्तार किया गया है। आरोपी करतारपुर के दासुपुर का रहने वाला है।

पुलिस के अनुसार, आरोपी अमृतपाल ने अपना जुर्म कबूल कर लिया है। उन्होंने बताया कि हादसे के वक्त वह अकेले थे और भोगपुर से किशनगढ़ जा रहे थे। पुलिस ने बताया कि घटनास्थल पर मिले सीसीटीवी फुटेज और हेडलाइट के टुकड़ों की मदद से आरोपी तक पहुँचा जा सका। पूछताछ के दौरान अमृतपाल ने अपना जुर्म कबूल कर लिया। इस मामले में आदमपुर थाने में धारा 281 और 105 के तहत एफआईआर दर्ज की गई।

प्रसिद्ध खिलाड़ी फौजा सिंह को जालंधर-पठानकोट राष्ट्रीय राजमार्ग पर पैदल चलते समय एक सफेद कार ने टक्कर मार दी। हादसे के बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहाँ इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी फौजा सिंह के निधन पर शोक व्यक्त किया। पीएम ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर लिखा, 

“फौजा सिंह एक असाधारण व्यक्ति थे। उन्होंने अपने विशेष व्यक्तित्व और फिटनेस जैसे महत्वपूर्ण विषय से भारत के युवाओं को प्रेरित किया। वह अद्भुत दृढ़ संकल्प वाले एक उत्कृष्ट एथलीट थे। उनका निधन अत्यंत दुखद है। मेरी संवेदनाएँ उनके परिवार और दुनिया भर में उनके अनगिनत प्रशंसकों के साथ हैं।”