कोरोना की तीसरी लहर में वायु प्रदूषण को मिला दिया जाए तो ज्यादा घातक होगा कोरोना


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कोरोना की तीसरी लहर में वायु प्रदूषण को मिला दिया जाए तो ज्यादा घातक होगा कोरोना: वायु गुणवत्ता आयोग को भी कोरोना संक्रमण की तीसरी लहर......

कोरोना की तीसरी लहर में वायु प्रदूषण को मिला दिया जाए तो ज्यादा घातक होगा कोरोना वायु गुणवत्ता आयोग को भी कोरोना संक्रमण की तीसरी लहर की आशंका से सतर्क कर दिया गया है। आयोग का मानना ​​है कि अगर कोरोना की तीसरी लहर के दौरान वायु प्रदूषण को नियंत्रण में नहीं रखा गया तो इसका मानव स्वास्थ्य पर दोहरा प्रतिकूल प्रभाव पड़ सकता है। इसे देखते हुए आयोग ने 4 जून को विशेष बैठक भी बुलाई है। इस वर्चुअल मीटिंग का एजेंडा एनसीआर समेत पहाड़ी इलाकों में कोरोना काल के साथ-साथ सर्दियों में भी हवा को साफ रखने की रणनीति तैयार करना होगा। पुनर्गठन के बाद आयोग की यह पहली बैठक है। जिसमें 18-18 सदस्य शामिल होंगे। हालांकि, पुनर्गठन के बाद, 18 सदस्यीय आयोग को बढ़ाकर 21 सदस्यीय आयोग कर दिया गया है। एनसीआर में जलवायु परिवर्तन और वायु गुणवत्ता सितंबर से बिगड़ रही है। अक्टूबर माह में पराली जलाने की घटना भी जोर पकड़ रही है। इस दौरान हवा की गुणवत्ता बिगड़ती नजर आ रही है। आयोग का मानना ​​है कि कोरोनरी संक्रमण सीधे फेफड़ों को प्रभावित करता है। ऊपर से प्रदूषित हवा लोगों की परेशानी को बढ़ा रही है। आयोग चर्चा करेगा कि कोरोना काल में प्रदूषण को कैसे रोका जाए। चर्चा है कि इस बैठक में पराली जलाने के मुद्दे पर भी चर्चा हो सकती है. वहीं, वायु प्रदूषण पर चर्चा नहीं की जाएगी।